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संसद की पुरानी बिल्डिंग को अब संविधान सदन के नाम से जाना जाएगा

मंगलवार की देर रात लोकसभा सचिवालय की ओर से इस बाबत एक अधिसूचना जारी कर दी गई

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पुरानी संसद के सेंट्रल हॉल में आज संसद विदाई समारोह का आयोजन किया गया इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सांसदों को सम्बोधित करते हुए कहा कि “इसी संसद से मुस्लिम बहनों को तीन तलाक से मुक्ति मिली, ट्रांसजेडंर बिल भी इसी संसद में पास हुआ। इसी संसद में जम्मू कश्मीर से आर्टिकल-370 हटाया गया। आज जम्मू कश्मीर शांति की राह पर चल रहा है। इसी संसद में चार हजार से ज्यादा बिल पास हुए। मैं पूरे विश्वास के साथ कहता हूं कि भारत टॉप-3 अर्थव्यवस्थाओं में पहुंचेगा।”
     पुरानी संसद के सेंट्रल हॉल में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आगे कहा कि “भारत अब रुकने वाला नहीं है। अब हम पुराने कानून से मुक्ति पाकर नए कानून की ओर जा रहे हैं। संसद में बनने वाला हर एक कानून भारतवासी के लिए होना चाहिए। हम जो भी रिफॉर्म करे उसमें भारत भी होना चाहिए.1952 के बाद दुनिया के करीब 41 राष्ट्राध्यक्षों ने सेंट्रल हॉल में आकर हमारे माननीय सांसदों को संबोधित किया है। हिंदुस्तान युवा देश है।”
     पुरानी संसद के सेंट्रल हॉल में विदाई समारोह में संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने अपने सम्बोधन में कहा कि “आज से हमारी संसद के दोनों सदनों की बैठकें नए संसद भवन में होंगी। हम सभी जानते हैं कि यह सेंट्रल हॉल ब्रिटेन से भारत में सत्ता हस्तांतरण का गवाह रहा है। मैं नए भवन से संसद के दोनों सदनों के कामकाज को लेकर बहुत खुश और उत्साहित हूं, जो नए और उभरते भारत का प्रतीक है, जो 2047 तक प्रधानमंत्री की परिकल्पना के अनुसार एक विकसित राष्ट्र का मार्ग प्रशस्त करेगा।”
     संसद के विशेष सत्र के दौरान भारतीय जनता पार्टी की सांसद मेनका गांधी ने कहा कि “आज यह एक ऐतिहासिक दिन है और मुझे इस ऐतिहासिक क्षण का हिस्सा बनने पर गर्व है। हम एक नई इमारत में जा रहे हैं और उम्मीद है कि यह भव्य इमारत नए भारत की आकांक्षाओं को प्रतिबिंबित करेगी। आज, मुझे लोकसभा में सबसे वरिष्ठ सांसद के रूप में इस सम्मानित सभा को संबोधित करने की जिम्मेदारी सौंपी गई है। मैंने अपना अधिकांश जीवन इस संस्थान में बिताया है और मैंने 7 प्रधानमंत्रियों और भव्य इतिहास को आकार लेते हुए देखा है। एक स्वतंत्र सदस्य के रूप में मेरे पास कई कार्यकाल थे और अंततः अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व में भाजपा में शामिल हुई.”
     पीएम नरेंद्र मोदी ने मंगलवार (19 सितंबर) को नए संसद भवन में अपने संबोधन के दौरान पुरानी पार्लियामेंट को संविधान सदन के तौर पर पहचाने जाने का प्रस्ताव रखा था। मंगलवार की देर रात लोकसभा सचिवालय की ओर से इस बाबत एक अधिसूचना जारी कर दी गई। संसद की पुरानी बिल्डिंग को अब संविधान सदन के नाम से जाना जाएगा।
     नए संसद भवन में प्रवेश करने से पहले आज पुरानी संसद में लोकसभा और राज्यसभा के सदस्यों की ज्वॉइंट फोटो शूट किया गया। सांसदों के ग्रुप में तीन अलग-अलग फोटो ली गई। पहली फोटो में लोकसभा और राज्यसभा के सदस्य तो दूसरे फोटो में सभी राज्यसभा सदस्य मौजदू रहे। तीसरी फोटो में सिर्फ लोकसभा के सदस्य थे।
-ओम कुमार
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